ममता-फडणवीस समेत कई मुख्यमंत्रियों और अन्य हस्तियों ने जाकिर हुसैन के निधन पर शोक जताया
इटानगर/गुवाहाटी/नागपुर, 16 दिसंबर (भाषा) मशहूर तबला वादक जाकिर हुसैन के निधन पर सोमवार को महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, अरुणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी समेत कई मुख्यमंत्रियों और अन्य दिग्गज हस्तियों ने शोक जताया जिनमें असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा और कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया भी शामिल हैं।
हुसैन का अमेरिका के सैन फ्रांसिस्को में एक अस्पताल में निधन हो गया। वह 73 वर्ष के थे। वह पिछले दो सप्ताह से अस्पताल में भर्ती थे।
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि प्रसिद्ध तबलावादक जाकिर हुसैन के निधन से ताल की दुनिया में एक शून्य पैदा हो गया है।
फडणवीस ने उस्ताद को महाराष्ट्र की धरती का एक विख्यात सपूत बताया जिसने तबले की मधुर गूंज के माध्यम से दुनिया भर के संगीत प्रेमियों को एकजुट किया।
फडणवीस ने शोक संदेश में कहा, ‘‘महाराष्ट्र के विख्यात सपूत जाकिर हुसैन की बदौलत दुनिया तबले से प्यार करने लगी। वह तीन पीढ़ियों तक तबला जुगलबंदी करने के लिए जाने गए। उन्होंने अनगिनत युवाओं को तबला वादन के लिए प्रेरित किया। उन्होंने विश्व स्तर पर तबले के क्षेत्र में भारत की विशिष्ट पहचान बनाई।’’
फडणवीस ने कहा, ‘‘मैं उन्हें हार्दिक श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं। हम उनके परिवार और प्रशंसकों के दुख में शामिल हैं।’’
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने ‘एक्स’ पर कहा, ‘‘प्रसिद्ध तबलावादक एवं सर्वकालिक महानतम तबला वादकों में से एक उस्ताद जाकिर हुसैन के असामयिक निधन से मैं अत्यंत स्तब्ध और दुखी हूं। यह देश और दुनिया भर में उनके लाखों प्रशंसकों के लिए बहुत बड़ी क्षति है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मैं महान कलाकार के परिवार, संगीत जगत और प्रशंसकों के प्रति अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त करती हूं।’’
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने ‘एक्स’ पर पोस्ट कर कहा, ‘‘तबला वादक उस्ताद जाकिर हुसैन के निधन से गहरा दुख हुआ, वह सच्चे अर्थों में महान थे जिनके तबले की थाप सीमाओं से परे जाकर लोगों के दिलों को जोड़ती थी। भारतीय शास्त्रीय संगीत और वैश्विक कला में उनका योगदान अद्वितीय है। भगवान उनकी आत्मा को शांति दे। उनके परिवार और प्रशंसकों के प्रति गहरी संवेदनाएं।’’
अरूणाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री पेमा खांडू ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘उस्ताद जाकिर हुसैन के निधन का गहरा शोक है, एक सच्चे उस्ताद, जिनके तबले की थाप ने ऐसा जादू बिखेरा कि उसकी गूंज पूरी दुनिया में सुनी गई।’’
मुख्यमंत्री ने एक अन्य सोशल मीडिया पोस्ट में कहा, ‘‘पद्म श्री, पद्म भूषण और पद्म विभूषण के साथ-साथ चार ग्रैमी पुरस्कार प्राप्तकर्ता और संगीत नाटक अकादमी द्वारा सम्मानित, उनकी विरासत हमेशा भारतीय शास्त्रीय संगीत के इतिहास में गूंजती रहेगी।’’
खांडू ने कहा, ‘‘उनके परिवार और अनगिनत प्रशंसकों के प्रति मेरी हार्दिक संवेदना। उनकी आत्मा को शाश्वत शांति मिले। ओम शांति।’’
असम के राज्यपाल लक्ष्मण प्रसाद आचार्य और मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने भी सोमवार को जाकिर हुसैन के निधन पर शोक व्यक्त किया और इसे संगीत जगत के लिए एक अपूरणीय क्षति बताया।
आचार्य ने ‘एक्स’ पर हिंदी में किए गए एक पोस्ट में कहा, ‘‘तबले की थाप खामोश हो गई। पद्मश्री, पद्म भूषण, पद्म विभूषण से अलंकृत उस्ताद जाकिर हुसैन का निधन संगीत जगत के लिए अपूरणीय क्षति है। ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति दें। ओम शांति।’’
शर्मा ने कहा कि उस्ताद जाकिर हुसैन की मृत्यु ने संस्कृति की दुनिया को बेरंग कर दिया है।
उन्होंने कहा, ‘‘दाएं-बाएं अपनी अंगुलियों से थाप देते हुए वह भारतीय तबले को वैश्विक मंच पर ले गए और वह हमेशा इसकी जटिल लय को साधने वाले साधक बने रहेंगे।’’
मुख्यमंत्री ने कहा कि हुसैन संगीत के पुरोधा और रचनात्मकता के दिग्गज थे, जिनके कार्यों ने उन्हें कई पीढ़ियों के बीच प्रिय बनाया।
शर्मा ने कहा, ‘‘उनके निधन से एक खालीपन आ गया है जिसे भरना मुश्किल होगा। उनके परिवार, शिष्यों और अनगिनत प्रशंसकों के प्रति मेरी हार्दिक संवेदना है।’’
लोकसभा में कांग्रेस के उपनेता गौरव गोगोई ने कहा कि तबला वादक हुसैन का निधन संगीत की दुनिया के लिए एक गहरी क्षति है।
उन्होंने कहा कि तबला वादक हुसैन की प्रतिभा ने सांस्कृतिक सीमाओं को पार करते हुए दुनिया भर के दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। गोगोई ने हुसैन के परिवार के सदस्यों और उनके असंख्य प्रशंसकों के प्रति अपनी हार्दिक संवेदना व्यक्त की।