नई दिल्ली- केंद्रीय चुनाव आयोग ने बिहार विधान सभा चुनाव के लिए तारीखों की घोषणा कर दी है। चुनाव का ऐलान होते ही राजनीतिक पार्टियां मैदान में उतर चुकी हैं। हर पार्टी अलग अलग तरीकों से मतदाताओं को लुभाने का प्रयास कर रही हैं। बिहार में बहुत से मुद्दे हैं जिनको लेकर चुनाव लड़ा जाएगा। आइए हम आपको बताते हैं कि किन संभावित मुद्दों पर बिहार का चुनाव लड़ा जाएगा।
1- कोरोना काल में दूसरे राज्यों से मजदूरों का पलायन बड़ा चुनावी मुद्दा है। हजारों लोग अलग-अलग शहरों से लॉकडाउन में अपने घर लौटे। उन्हें रोजगार नहीं मिलने पर विपक्ष लगातार हमले कर रहा है। वहीं पैदल आये मजदूर, रास्ते में दुर्घटना में अपनी जान गंवाने वाले मजदूरों को लेकर विपक्ष सत्तादल पर निशाना साध सकता है।
2- हर चुनाव की तरह इस बार चुनाव में भी बाढ़ बड़ा मुद्दा बनेगा। इस वर्ष बाढ़ से बिहार में भारी नुकसान हुआ है। सत्ता पक्ष का दावा है कि गरीबों को अनाज मुहैया करवाया गया जबकि विपक्ष का कहना है कि बाढ़ से भारी नुकसान हुआ है और सरकार इससे निपटने में बुरी तरह से नाकाम साबित हुई है।
3- बिहार की नीतीश सरकार लगातार वंशवाद मुक्त स्थिर सरकार की बात कह रही है, वहीं विपक्ष भी बेरोजगारी और गरीबी का मुद्दा जोर शोर से उठा रहा है।
4- सत्ता पक्ष शराब बंदी और महिलाओं को आरक्षण के मुद्दे के साथ चुनावी मैदान में है, तो विपक्ष लचर कानून व्यवस्था, बेरोजगारी, गरीबी, बिजली व्यवस्था, खराब सड़कों को लेकर सत्ता पक्ष पर हमलावर है।
5- विपक्ष हाल ही में केंद्र सरकार द्वारा लाये गए किसान बिल को लेकर भी हमलावर है। विपक्ष इसे किसानों को बर्बाद करने वाला बिल बता रही है तो वहीं सत्ता पक्ष का दावा है कि इस बिल से किसान खुशहाल होंगे।