भामाशाह जयंती पर राष्ट्रीय अवकाश की मांग को लेकर अखिल भारतीय तेलिक साहू महासभा ने सौंपा ज्ञापन
भामाशाह जयंती पर राष्ट्रीय अवकाश की मांग को लेकर अखिल भारतीय तेलिक साहू महासभा ने सौंपा ज्ञापन
अखिल भारतीय तेलिक साहू महासभा, जमशेदपुर इकाई द्वारा आज ऐतिहासिक भामाशाह जयंती के अवसर पर एक विशेष कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस दौरान संगठन के प्रतिनिधियों ने उपायुक्त कार्यालय पहुंचकर भारत के प्रधानमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा। इस ज्ञापन के माध्यम से महासभा ने भामाशाह जयंती को राष्ट्रीय अवकाश घोषित करने की मांग रखी।
ज्ञापन सौंपने के बाद अखिल भारतीय तेलिक साहू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने प्रेस को संबोधित करते हुए कहा, “भामाशाह जैसे महापुरुषों का योगदान भारतीय इतिहास में अविस्मरणीय है। लगभग 500 वर्ष पूर्व, हल्दीघाटी के युद्ध के दौरान जब महाराणा प्रताप आर्थिक संकट से जूझ रहे थे, तब भामाशाह ने अपनी समस्त संपत्ति राष्ट्र रक्षा हेतु समर्पित कर दी थी। उनका यह त्याग न केवल एक व्यक्ति की राष्ट्रभक्ति का उदाहरण है, बल्कि यह बताता है कि किस प्रकार समाज के विभिन्न वर्गों ने स्वतंत्रता और स्वाभिमान की रक्षा में अपना योगदान दिया।”
महासभा ने इस बात पर भी जोर दिया कि आने वाली पीढ़ियों को ऐसे महापुरुषों के आदर्शों से प्रेरणा लेने की आवश्यकता है, और इसके लिए आवश्यक है कि उनके जन्मदिवस पर देशभर में छुट्टी घोषित की जाए ताकि जनमानस उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित कर सके और उनके विचारों को आत्मसात कर सके।
इस मौके पर जिले के अनेक तेलिक साहू समाज के वरिष्ठजन, युवाओं तथा महिलाओं की उपस्थिति रही। सभी ने एक स्वर में भामाशाह के त्याग और राष्ट्रप्रेम की सराहना की और ज्ञापन की मांग को उचित ठहराया।
कार्यक्रम के अंत में संगठन की ओर से यह भी बताया गया कि यदि सरकार द्वारा मांग पर सकारात्मक विचार नहीं किया गया, तो भविष्य में पूरे देशभर में जन जागरूकता अभियान चलाया जाएगा।
भामाशाह कौन थे?
भामाशाह एक महान दानवीर, रणनीतिकार और मेवाड़ साम्राज्य के महामंत्री थे। उन्होंने महाराणा प्रताप को उस समय धन प्रदान किया जब अकबर की सेनाओं से संघर्ष के चलते मेवाड़ की आर्थिक स्थिति बेहद दयनीय थी। उनके योगदान से ही महाराणा प्रताप ने पुनः अपनी सेना को संगठित कर मुगलों से टक्कर ली।