लोकतंत्र के लिए घातक है किसी संगठन का आवाज नहीं उठानाःसरयू राय
*जमशेदपुर सिटीजन फोरम के अभिनंदन समारोह में बोले सरयू राय*
*-मुद्दों को ठीक से उठाने की प्रवृति धीरे-धीरे कम हो रही है*
राष्ट्र संवाद संवाददाता
*जमशेदपुर*। सामाजिक मुद्दों को बहुत कायदे से उठाने की जरूरत है. अफसोस है कि अब सामाजिक मुद्दों को उठाने वालों की संख्या बेहद कम हो गई है. जमशेदपुर जैसे शहर में अगर कोई जाम के खिलाफ आवाज उठाता है तो उसे पुलिस नोटिस दे देती है, एफआईआर कर देती है. उस आदमी के लिए सामाजिक संगठनों को आवाज उठानी चाहिए. दुर्भाग्य है कि ऐसे सामाजिक संगठनों की अब कमी हो गई दिखती है. अब कोई किसी के लिए आवाज नहीं उठाता. यह लोकतंत्र के बेहद घातक है. जमशेदपुर में ऐसा ही दिख रहा है. मुद्दों को ठीक से उठाने की प्रवृति धीरे-धीरे कम हो रही है. यह जनता और जनप्रतिनिधि, दोनों के लिए ठीक नहीं है.
उक्त बातें जमशेदपुर पश्चिमी के नवनिर्वाचित विधायक सरयू राय ने कही. वह जमशेदपुर सिटीजन फोरम के तत्वावधान में श्रीकृष्ण सिन्हा संस्थान में आयोजित अपने नागरिक अभिनंदन कार्यक्रम में स्वागत के बाद अपनी बात रख रहे थे.
सरयू राय ने कहा कि शहर के मानगो पुल पर लगने वाले जाम को लेकर प्रशासन बहुत गंभीर नहीं है. प्रशासन को और गंभीर होना पड़ेगा. उदासीन है प्रशासन. एक मीटिंग तो अभी प्रशासनिक अधिकारियों ने की है, लेकिन उसका कोई बहुत प्रभाव नहीं दिख रहा है. दरअसल, समस्या की जड़ में मानगो पुल नहीं, टिमकेन चौराहा है. इस चौराहे से ट्रैफिक कम करने के लिए जरूरी प्रयास करने की अतिशीघ्र जरूरत है.
श्री राय ने कहा कि आज का दौर और जेपी-लोहिया के दौर में बहुत फर्क आया है. पहले की राजनीति में आपराधिक तत्व नहीं होते थे. जो होते भी थे, वह भलमनसाहत के साथ सियासी दलों से जुड़ते थे. अब तो सीधे अपराधी चुनाव लड़ रहे हैं. अपराधी अब किसी को समर्थन देने की बजाए खुद से चुनाव लड़ना ज्यादा पसंद करने लगे हैं, लड़ रहे हैं. यह लोकतंत्र के लिए कत्तई ठीक नहीं है.