रिम्स पहुँचे स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता, कोविड टास्क फोर्स संग की कोरोना की समीक्षा
स्वास्थ्य मंत्री श्री बन्ना गुप्ता से आज रिम्स पहुंचे, रिम्स में उन्होंने कोविड के टास्क फोर्स के साथ एक उच्चस्तरीय बैठक कर कोरोना के इलाज और भविष्य की कार्ययोजना की समीक्षा की।
*मैन पावर की कमी दूर कर बेहतर व्यवस्था सुनिश्चित करें*
स्वास्थ्य मंत्री श्री बन्ना गुप्ता ने कोविड के लिए बनी टास्क फोर्स के साथ बैठक करते हुए कहा कि कोरोना काल में रिम्स को ज्यादा जिम्मेदारी के साथ कार्य करने की जरूरत हैं, जो भी कमियाँ हैं उसे दूर कर बेहतर स्वास्थ्य व्यवस्था बहाल करने की जरूरत है।उन्होंने रिम्स निदेशक को निर्देश दिया है कि इलाज के दौरान जो नर्सिंग स्टाफ और मेडिकल कर्मियों की दिक्कत हो रही हैं उसे तुरंत दूर करने के लिए आवश्यक कदम उठाए।
उन्होंने निर्देश दिया कि रिम्स में वर्तमान में क्षमता से कम मरीजों का इलाज हो रहा है इसलिए अन्य विभागों से मैनपॉवर का संयोजन कर कोविड के लिए वैकल्पिक व्यवस्था निर्धारित करें। साथ ही जरूरत पड़े तो आउटसोर्सिंग के माध्यम से जरूरत के अनुसार पदों पर नियुक्ति करें।
*चैलेंज बड़ा हैं मिलकर लड़ना भी हैं और जितना भी हैं*
मंत्री बन्ना गुप्ता ने बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि अब चैलेंज बढ़ा हैं और विस्तार हुआ है, जांच ज्यादा हो रहे हैं, जिम्मेदारी भी बढ़ी हैं, इस समय टीम भावना से काम करने की जरूरत हैं, उन्होंने बताया कि उन्हें रिम्स पर पूरा विश्वास हैं और कोरोना की लड़ाई में रिम्स का महत्वपूर्ण योगदान याद रखा जाएगा।
कोरोना के अलावे अन्य मरीजों की भी इलाज सुनिश्चित हो
मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि अब समय आ गया है कि कोरोना के अलावे भी बेहतर तरीके से अन्य रोगों के मरीजों का इलाज सुनिश्चित हो, उन्होंने बताया कि गंभीर रोगों और गर्भवती महिलाओं के इलाज पर विशेष ध्यान रखें।साथ ही अन्य गंभीर रोगों के प्रति भी सकारात्मक ऊर्जा के साथ सेवा कार्य करने की जरूरत हैं।
स्वास्थ्य मंत्री ने रिम्स की व्यवस्था सुधारने के लिए निम्न निर्देश दिए हैं
1)कोविड मरीजों के सुविधा के लिए हेल्प डेस्क बनाये और प्रत्येक मरीजों के सहयोग की व्यवस्था सुनिश्चित करें।
2)किचन और खाना की गुणवत्ता में सुधार लाये, उन्होंने कहा कि रिम्स की न्यूट्रिशन की टीम समय समय पर खाने की गुणवत्ता की जांच करें, कोरोना मरीजों के खाने पर विशेष ध्यान रखें।
3)कोरोना के मरीज की संख्या लगातार बढ़ रही हैं इसलिए वैकल्पिक व्यवस्था के रूप में मेडिसिन, डेंगू और ऑर्थो वार्ड समेत अन्य विकल्पों पर विचार कर ज्यादा से ज्यादा बेड की व्यवस्था की जाए।
4)साधारण बीमारी के मरीजों को ई संजीवनी और टेलीमेडिसिन सिस्टम के माध्यम से इलाज किया जाए, गंभीर इलाजों की व्यवस्था रिम्स में हो।
5)चिकित्सकों की उपस्थिति और ड्यूटी की जिम्मेदारी विभागाध्यक्ष के ऊपर हैं, संभाल नही पाए तो हटाएंगे।
6)बल्ड की कमी को देखते हुए रक्तदान शिविर आयोजित किया जाए।
ये रहे उपस्थित
रिम्स निदेशक डॉ मंजू गाड़ी, सुपरिटेंडेंट डॉ विवेक कश्यप,डॉ विवेक कश्यप, डॉ प्रभात नेफ्रोलॉजी की डॉ प्रज्ञा पंत घोष समेत अन्य विभागों के विभागाध्यक्ष।