घाटशिला बार एसोसिएशन के अध्यक्ष अधिवक्ता जमनीकांत महतो के निधन पर राजेश शुक्ल ने शोक जताया
झारखंड स्टेट बार कौंसिल के वाईस चेयरमैन और राज्य के सुप्रसिद्ध वरिष्ठ अधिवक्ता श्री राजेश कुमार शुक्ल ने घाटशिला बार एसोसिएशन के अध्यक्ष और जमनीकांत शैक्षणिक संस्थानों के संस्थापक श्री जमनीकांत महतो अधिवक्ता के निधन पर गहरा शोक प्रकट किया है तथा इसे अधिवक्ता जगत और शिक्षा जगत की अपूर्णीय क्षति बताया है।
प्रसिद्ध समाजसेवी , शिक्षाविद और जे के शैक्षणिक संस्थान के सचिव आदरणीय डाॅ जामिनी कांत महतो जी का कल रात भुवनेश्वर के एक अस्पताल में निधन हो गया है। वो पिछले एक माह से कोविड के कारण बीमार थे। जामिनी कांत महतो जी राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के सक्रिय सदस्य रहे और शिक्षा के पुनर्निर्माण और भारतीय संस्कृति के उत्थान के लिए हमेशा सजग और प्रयासरत रहे। समाज को उनकी कमी खलेगी ।
कोरोना काल में भी उन्होंने सेवा कार्य में बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया था। ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा का अलख जगाने में उनकी भूमिका उल्लेखनीय रही है। उनके निर्देशन में हाई स्कूल, इंटर काॅलेज , डिग्री काॅलेज और दो बी एड काॅलेज का संचालन हो रहा है। उनका जाना समाज और संस्था के लिए एक अकथनीय क्षति है।
श्री शुक्ल जो अखिल भारतीय अधिवक्ता कल्याण समिति के राष्ट्रीय महामंत्री भी है ने अपने शोक संदेश में कहा है कि जमनीकांत महतो एक व्यवहार कुशल अधिवक्ता थे तथा घाटशिला क्षेत्र में कई शैक्षणिक संस्थानों की स्थापना भी की थी। वे बराबर मुझसे मार्गदर्शन लेते थे तथा घाटशिला क्षेत्र में एक विधि महाविद्यालय खोलने के बारे में मुझसे मार्गदर्शन लेने अप्रैल में आये थे। उनके निधन से समाज ने एक रचनात्मक विचारधारा से ओत प्रोत समाजसेवी को खो दिया है। श्री शुक्ल ने उनके निधन को अपनी निजी क्षति भी बताया है।
श्री शुक्ल ने श्री महतो के निधन की खबर पाकर घाटशिला बार एसोसिएशन के सदस्यों से बात की तथा दुःख जताते हुए सभी से जमनीकांत महतो के विचारों को आगे बढ़ाने की अपील की। श्री शुक्ल ने प्रभु से उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना किया है तथा परिजनों और उनके मित्रो के प्रति संवेदना जताई है।