* जो साधक धर्म कर्म और ज्योतिष के क्षेत्र में सेवारत हैं उनके लिए देवी उपासना दिव्य शक्तियां प्राप्त करने का सर्वोत्तम मार्ग है.
* जितने भी प्रसिद्ध ज्योतिषी हुए हैं उनमें से ज्यादातर देवी उपासक रहे हैं क्योंकि किसी विषय का ज्ञान आंख की तरह है जो देखने की शक्ति तो देता है लेकिन अंधेरे में देखने की क्षमता दिव्य शक्तियों के प्रकाश के बगैर असंभव है.* जो साधक धर्म-कर्म और ज्योतिष के क्षेत्र में कामयाबी चाहते हैं उन्हें मासिक दुर्गाष्टमी पर नियमित रूप से संकल्प लेकर पूजा-अर्चना करनी चाहिए, समय के साथ उन्हें अहसास होगा कि कोई शक्ति उन्हें सही मार्ग दिखा रही है!
* साधना के लिए उत्तम गुरु मिल जाए तो अच्छा है, नहीं तो अपनी ज्ञान-क्षमता से देवी आराधना प्रारंभ करें, सारी बाधाएं अपने आप समाप्त होती चली जाएंगी.
* यदि अखंड प्रदीप रख सकें तो देवी साधना के परिणाम जल्दी प्राप्त होते हैं लेकिन अपना मन सात्विक पूजा पर ही केंद्रित रखें, सही जानकारी के अभाव में जिद्दी साधना के परिणाम अक्सर खराब होते हैं!