निजी स्कूल बना ‘बैंक’? फीस में चक्रवृद्धि ब्याज वसूली पर भाजपा नेता अंकित आनंद ने शिक्षा मंत्री से किये तीखे सवाल, उपायुक्त से कार्रवाई की माँग
जमशेदपुर के एक प्रतिष्ठित निजी स्कूल द्वारा विलंब से फीस जमा करने पर एक अभिभावक से ₹17000 चक्रवृद्धि ब्याज के रूप में वसूले जाने का मामला सामने आया है। इस गंभीर प्रकरण पर भाजपा नेता अंकित आनंद ने तीखी प्रतिक्रिया दी है।
अंकित आनंद, जो ‘शिक्षा सत्याग्रह’ नामक संगठन के माध्यम से लंबे समय से अभिभावकों के हितों के लिए संघर्ष कर रहे हैं, ने सोशल मीडिया पर लिखा,
*”क्या स्कूलों को बैंकिंग का लाइसेंस मिला है? फीस में चक्रवृद्धि ब्याज वसूलना अवैध और अमानवीय है।”*
उन्होंने शिक्षामंत्री रामदास सोरेन और पूर्वी सिंहभूम के उपायुक्त को टैग कर जांच समिति गठित करने और कार्रवाई के आदेश जारी करने की मांग की।
*प्रशासन हरकत में आया*
जिला शिक्षा अधीक्षक आशीष पांडेय ने बताया कि मामले में आरटीई सेल ने संज्ञान लिया है और संबंधित स्कूल को नोटिस जारी कर दिया गया है। उन्होंने आश्वासन दिया कि यह प्रावधान स्कूल द्वारा वापस लिया जाएगा। साथ ही इसे आगामी जिला स्तरीय फीस समिति की बैठक में प्रमुख मुद्दे के रूप में रखा जाएगा और दोषी स्कूलों पर जुर्माना लगाया जाएगा।
भाजपा नेता ने जिला स्तरीय फ़ीस निर्धारण समिति की बैठक में देरी पर भी सवाल उठाते हुए शीघ्र बैठक बुलाने की मांग की है।