प्रकृति का खून एवं प्लेटलेट है पौधा*
विश्व प्रकृति दिवस के अवसर पर पृथ्वी को स्वस्थ रखने के लिए बांटे गए 100 पौधा
हर व्यक्ति को पेड़ पौधे को परिवार के सदस्य के रूप में स्वीकार करना होगा : आनंद मार्ग
जमशेदपुर 3 अक्टूबर 2023
विश्व प्रकृति दिवस के अवसर पर बांटे गए 100 निशुल्क पौधे
जिस तरह अस्वस्थ मनुष्य के जान बचाने के लिए खून एवं प्लेटलेट की जरूरत पड़ती है उसी तरह प्राकृतिक को बचाने के लिए पेड़ पौधे की जरूरत है प्रकृति का खून एवं प्लेटलेट है पेड़ पौधा जिस तरह मनुष्य को जब खून एवं प्लेटलेट की कमी हो जाती है शरीर में तो मनुष्य का जीवन खतरे में पड़ जाता है क्योंकि खून एवं प्लेटलेट का कोई विकल्प नहीं है इस तरह प्राकृतिक का संतुलन जब बिगड़ जाता है तो उसको संतुलित करने के लिए प्लेटलेट एवं खून रूपी पौधों का रोपण बहुत ही आवश्यक हो जाता है इसलिए ज्यादा से ज्यादा प्रकृति को बचाने के लिए एवं स्वस्थ रहने रखने के लिए पौधा लगाना बहुत ही जरूरी है
सोनारी कबीर मंदिर के पास एवं गदरा आनंद मार्ग जागृति में आनंद मार्ग एवं प्रीवेंशन आफ क्रुएलिटी टू एनिमल्स एंड प्लांट्स (PCAP)जमशेदपुर कि ओर से 100 निशुल्क पौधे बांटे गए एवं
पर्यावरण संरक्षण के लिए संकल्प भी दिलाया गया, हर व्यक्ति को पेड़ पौधे को परिवार का सदस्य के रूप में स्वीकार करते हैं प्राकृतिक को भगवान भगवान मानना ही होगा
आनंद मार्ग यूनिवर्सल रिलीफ टीम ग्लोबल एवं प्रीवेंशन आफ क्रुएलिटी टू एनिमल्स एंड प्लांट्स (PCAP)जमशेदपुर की ओर से से पिछले 15 सालों से आज तक लगभग 1लाख 50 हजार से भी ज्यादा पौधा का निशुल्क वितरण किया जा चुका है
आनंद मार्ग के सुनील आनंद का कहना है कि
आनंद मार्ग का कहना है कि जब तक हम पेड़ पौधों एवं जीव ,जंतु को अपने परिवार का सदस्य के रूप में स्वीकार नहीं किया करेंगे तब तक प्रकृति का कल्याण संभव नहीं है ,इसलिए नव्य -मानवतावादी विचारधारा से समाज का कल्याण संभव है ,नव्य मानवतावाद बताता है कि इस पृथ्वी पर मनुष्य ही नहीं अनेक प्रकार के पेड़ ,पौधे जीव जंतु इस पृथ्वी रूपी परिवार के सदस्य हैं ,हम इस पृथ्वी के बुद्धिमान जीव होने के नाते हमारा कर्तव्य बनता है कि सभी को परिवार सदस्य के रूप में स्वीकार किया जाए , मनुष्य का परम आदर्श नव्य- मानवतावाद होना चाहिए तभी पृथ्वी का कल्याण संभव है इस विचार को
आदिवासी समाज स्वीकार करते हुए आगे बढ़ रहे हैं हम लोगों को इन लोगों के बीच सहयोग की आवश्यकता है , आनंद मार्ग हमेशा पर्यावरण के उद्देश्य से आदिवासी समाज के बीच मिलकर काम कर रहा है
पृथ्वी पर ऑक्सीजन की मात्रा को संतुलित रखने के लिए आनंद मार्ग की ओर से बांटे गए हर तरह के पौधे