सेवानिवृत्त आईपीएस अधिकारी अमिताभ चौधरी बने जेपीएससी के चेयरमैन
राम कंडे मिश्रा
अपने समय के तेज तरार आईपीएस अधिकारी रहे अमिताभ चौधरी झारखंड पब्लिक सर्विस कमीशन के नए चेयरमैन होंगे . राज्य सरकार की अनुशंसा पर राज्यपाल द्रोपति मुर्मू ने उनकी नियुक्ति की है. पिछले कुछ माह से जेपीएससी के अध्यक्ष का पद खाली था. जिसकी वजह से सरकारी नियुक्तियों में बाधा आ रही थी . उनकी नियुक्ति के बाद से जेपीएससी के कार्यों में तेजी आएगी . वैसे तो इस पद के लिए कई लोगों के नाम की चर्चा थी, लेकिन अंततः सरकार ने एक बड़ा फैसला लेते हुए अमिताभ चौधरी को इस पद के योग्य पाया. अमिताभ चौधरी की पहचान एक निष्ठावान और कर्मठ आईपीएस अधिकारी के रूप में रही है. उन्होंने आई जी के पद से इस्तीफा देकर स्वैच्छिक सेवानिवृत्त ले ली थी. वर्तमान में वे जेएससीए (झारखंड राज्य क्रिकेट एसोसिएशन) के अध्यक्ष हैं . इसके पहले अमिताभ चौधरी भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड के सचिव भी रह चुके हैं . उनकी नियुक्ति से जेपीएससी के कार्य प्रणाली में सुधार आएगा. घपला घोटालों की प्रवृत्ति पर रोक लगेगी और जेपीएससी का कार्य नियमित रूप से चलेगा.
अमिताभ चौधरी का संक्षिप्त परिचय :-
1984 बैच के आईपीएस अधिकारी अमिताभ चौधरी ने इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी खड़कपुर से इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी की थी . इंजीनियरिंग की पढ़ाई पूरी करने के बाद वे टाटा स्टील में बातौर जीटी के रूप में काम किए . इसी दौरान प्रथम प्रयास में ही अमिताभ चौधरी ने यूपीएससी की परीक्षा पास की और भारतीय पुलिस सेवा के लिए चुन लिए गए . सर्विस के दौरान वे 1999 से 2001 तक जमशेदपुर के एसपी रहे. जमशेदपुर एसपी के पद पर रहते हुए उन्होंने कई महत्वपूर्ण काम किए और पुलिस की कार्यप्रणाली में सुधार किया. एक बार उन्होंने कहा था की पुलिस में सुधार के बाद अपराध स्वत: कंट्रोल में आ जाएगा . वे रांची के सीनियर एसपी भी रहे. पुलिस सेवा से स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति के बाद उन्होंने क्रिकेट के क्षेत्र में योगदान देकर महत्वपूर्ण भूमिका निभाई . वे भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड से जुड़े और संयुक्त सचिव के पद पर भी रहे . इस दौरान भारतीय क्रिकेट टीम के साथ बतौर मैनेजर उन्होंने कई देशों का दौरा भी किया. झारखंड अलग होने के बाद जेएससीए के अध्यक्ष बनाए गए और कई सुधार भी किया. अमिताभ चौधरी ने भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान महेंद्र सिंह धोनी को भी आगे बढ़ाने में अहम भूमिका निभाई थी. उन दिनों वह जेएससीए के अध्यक्ष हुआ करते थे. रांची का जेएससीए स्टेडियम अपनी देखरेख में उन्होंने बनवाया और उसे एक अंतरराष्ट्रीय स्टेडियम का दर्जा दिलवाया. उनके प्रयास से ही रांची में कई अंतरराष्ट्रीय मैच भी खेले गए .