जमशेदपुर:केंद्रीय श्रम संगठनों,स्वतंत्र फेडरेशनों एवं मजदुर संगठनो के संयुक्त मंच द्वारा आहूत 3 फरवरी का देशव्यापी विरोध दिवस
श्रम संहिताओं पर विस्तृत चर्चा होने तक श्रम संहिताओं के कार्यान्वयन को रोकने की ट्रेड यूनियनों की माँग को पूरी तरह से नकारने तथा मसौदा श्रम नियमों पर चर्चा के दौरान केंद्र सरकार द्वारा दिखाये गये अड़ियल रवैये की पृष्ठभूमि में, सभी केंद्रीय ट्रेड यूनियन और स्वतंत्र फेडरेशनों के संयुक्त मंच द्वारा आंदोलन के दूसरे और उच्चतर चरण को शुरू करने का फैसला के अनुसार, आज जमशेदपुर में 3 फरवरी को राष्ट्रीय विरोध दिवस के अवसर पर इंटक, एआईटीयूसी,सीटू, एक्टू,एआईयूटीयूसी से संबंधित यूनियनों के सदस्यों के साथ बैंक, बीमा, अराजपत्रित कर्मचारी,रेलवे,डाक ,फार्मा आदि के फेडरेशन के सदस्य ने संयुक्त रूप से जी पी ओ पार्क बिष्टुपुर के सामने, 4:30 बजे बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन का आयोजन किया ।
-सभी चार श्रम संहिताओं को रद्द करने,तीनों कृषि कानूनों को रद्द करने,बिजली संशोधन बिल 2020 को वापस लेने, सार्वजनिक क्षेत्र के निजीकरण को रोकने और गरीब परिवारों को आर्थिक और भोजन सहायता देने की मांगों के साथ जन विरोधी बजट प्रस्तावों जैसे बीमा में एफ.डी.आई में 74 फीसदी तक की बढ़ोतरी- विनिवेश के जरिए 1.75 लाख करोड़ रुपये जुटाने एवं कृषि मनरेगा,शिक्षा, समाज कल्याण,स्वास्थ्य और परिवार कल्याण, महिला और बाल विकास,वैज्ञानिक विभाग, शहरी विकास, पेंशन और विकलांगता आदि में बजट आवंटन में कटौती, पीएफ के ब्याज पर कर के प्रस्तावों को का भी विरोध किया गया।कार्यक्रम के अंत में चार श्रम संहिता और तीन कृषि कानूनों की प्रतियां जलाया गया ।
संयुक्त मंच द्वारा द्वारा फरवरी के महीने में ही यूनियनों के कार्यकर्ताओं द्वारा, तीन दिनों के लगातार क्रमिक भूख हड़ताल की जाने तथा इन मांगों के पूरा न होने की स्थिति में उचित समय पर कई दिनों की देशव्यापी हड़ताल की ओर बढ़ने का निर्णय लिया गया है ।
कार्यक्रम में श्री राकेश्वर पांडे, अंबुज ठाकुर,विश्वजीत देब, के के त्रिपाठी,वी के एल दास, बिनोद राय, ओमप्रकाश, स्वपन घोषाल, आर एस राय, परबिंदर सिंह सोहल,रिंटू रजक, अमित मोइत्रा,आर बी सहाय,डी एन सिंह, सुब्रत बिस्वास, आर एन ठाकुर, तपस चतुरराज,श्रीमती मीरा तिवारी आदि के नेतृत्व में बड़ी संख्या में विभिन्न यूनियनों के सदस्य उपस्थित थे