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***|| जय श्री राधे ||***
🌺🙏 महर्षि पाराशर पंचांग 🙏🌺
🙏🌺🙏 अथ पंचांगम् 🙏🌺🙏
****ll जय श्री राधे ll****
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दिनांक:- 06/03/2025, गुरुवार
सप्तमी, शुक्ल पक्ष,
फाल्गुन
“”””””””””””””””””””””””””””””””””””(समाप्ति काल)
तिथि———- सप्तमी 10:50:24 तक
पक्ष———————— शुक्ल
नक्षत्र——— रोहिणी 24:04:39
योग——— विश्कुम्भ 20:28:01
करण———- वणिज 10:50:24
करण——- विष्टि भद्र 22:00:35
वार———————- गुरूवार
माह———————- फाल्गुन
चन्द्र राशि—————– वृषभ
सूर्य राशि—————— कुम्भ
रितु———————— वसंत
आयन—————— उत्तरायण
संवत्सर———————क्रोधी
संवत्सर (उत्तर) ————–कालयुक्त
विक्रम संवत—————- 2081
गुजराती संवत————– 2081
शक संवत—————– 1946
कलि संवत—————– 5125
वृन्दावन
सूर्योदय————– 06:39:40
सूर्यास्त—————18:21:28
दिन काल———— 11:41:47
रात्री काल————- 12:17:08
चंद्रोदय————– 10:50:32
चंद्रास्त—————- 25:32:15
लग्न—-कुम्भ 21°30′ , 321°30′
सूर्य नक्षत्र———- पूर्वा भाद्रपदा
चन्द्र नक्षत्र—————- रोहिणी
नक्षत्र पाया—————— लोहा
🚩💮🚩 पद, चरण 🚩💮🚩
ओ—- रोहिणी 06:49:05
वा—- रोहिणी 12:32:30
वी—- रोहिणी 18:17:41
वु—- रोहिणी 24:04:39
वे—- मृगशशिरा 29:53:27
💮🚩💮 ग्रह गोचर 💮🚩💮
ग्रह =राशी , अंश ,नक्षत्र, पद
==========================
सूर्य= कुम्भ 21°40, पू oभाo 1 से
चन्द्र= वृषभ 13°30 , रोहिणी 1 ओ
बुध =मीन 09°52 ‘ उ o भा o 2 थ
शु क्र= मीन 16°05, उ o फाo’ 4 ञ
मंगल=मिथुन 23°30 ‘ पुनर्वसु ‘ 2 को
गुरु=वृषभ 18°30 रोहिणी, 3 वी
शनि=कुम्भ 27°28 ‘ पू o भा o , 3 दा
राहू=(व) मीन 03°56 उo भा o, 1 दू
केतु= (व)कन्या 03°56 उ oफा o 3 पा
🚩💮🚩 शुभा$शुभ मुहूर्त 💮🚩💮
राहू काल 13:58 – 15:26 अशुभ
यम घंटा 06:40 – 08:07 अशुभ
गुली काल 09:35 – 11: 03अशुभ
अभिजित 12:07 – 12:54 शुभ
दूर मुहूर्त 10:34 – 11:20 अशुभ
दूर मुहूर्त 15:14 – 16:01 अशुभ
वर्ज्यम 16:22 – 17:55 अशुभ
प्रदोष 18:21 – 20:51 शुभ
💮चोघडिया, दिन
शुभ 06:40 – 08:07 शुभ
रोग 08:07 – 09:35 अशुभ
उद्वेग 09:35 – 11:03 अशुभ
चर 11:03 – 12:31 शुभ
लाभ 12:31 – 13:58 शुभ
अमृत 13:58 – 15:26 शुभ
काल 15:26 – 16:54 अशुभ
शुभ 16:54 – 18:21 शुभ
🚩चोघडिया, रात
अमृत 18:21 – 19:54 शुभ
चर 19:54 – 21:26 शुभ
रोग 21:26 – 22:58 अशुभ
काल 22:58 – 24:30* अशुभ
लाभ 24:30* – 26:02* शुभ
उद्वेग 26:02* – 27:34* अशुभ
शुभ 27:34* – 29:06* शुभ
अमृत 29:06* – 30:39* शुभ
💮होरा, दिन
बृहस्पति 06:40 – 07:38
मंगल 07:38 – 08:37
सूर्य 08:37 – 09:35
शुक्र 09:35 – 10:34
बुध 10:34 – 11:32
चन्द्र 11:32 – 12:31
शनि 12:31 – 13:29
बृहस्पति 13:29 – 14:28
मंगल 14:28 – 15:26
सूर्य 15:26 – 16:25
शुक्र 16:25 – 17:23
बुध 17:23 – 18:21
🚩होरा, रात
चन्द्र 18:21 – 19:23
शनि 19:23 – 20:24
बृहस्पति 20:24 – 21:26
मंगल 21:26 – 22:27
सूर्य 22:27 – 23:29
शुक्र 23:29 – 24:30
बुध 24:30* – 25:31
चन्द्र 25:31* – 26:33
शनि 26:33* – 27:34
बृहस्पति 27:34* – 28:36
मंगल 28:36* – 29:37
सूर्य 29:37* – 30:39
🚩उदयलग्न प्रवेशकाल 🚩
कुम्भ > 04:28 से 06:06 तक
मीन > 06:06 से 07:34 तक
मेष > 07:34 से 09:12 तक
वृषभ > 09:12 से 11:10 तक
मिथुन > 11:10 से 13:28 तक
कर्क > 13:28 से 15:44 तक
सिंह > 15:44 से 17:54 तक
कन्या > 17:54 से 20:08 तक
तुला > 20:08 से 22:22 तक
वृश्चिक > 22:22 से 00:42 तक
धनु > 00:42 से 02:36 तक
मकर > 02:36 से 04:22 तक
🚩विभिन्न शहरों का रेखांतर (समय)संस्कार
(लगभग-वास्तविक समय के समीप)
दिल्ली +10मिनट——— जोधपुर -6 मिनट
जयपुर +5 मिनट—— अहमदाबाद-8 मिनट
कोटा +5 मिनट———— मुंबई-7 मिनट
लखनऊ +25 मिनट——–बीकानेर-5 मिनट
कोलकाता +54—–जैसलमेर -15 मिनट
नोट– दिन और रात्रि के चौघड़िया का आरंभ क्रमशः सूर्योदय और सूर्यास्त से होता है।
प्रत्येक चौघड़िए की अवधि डेढ़ घंटा होती है।
चर में चक्र चलाइये , उद्वेगे थलगार ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार करे,लाभ में करो व्यापार ॥
रोग में रोगी स्नान करे ,काल करो भण्डार ।
अमृत में काम सभी करो , सहाय करो कर्तार ॥
अर्थात- चर में वाहन,मशीन आदि कार्य करें ।
उद्वेग में भूमि सम्बंधित एवं स्थायी कार्य करें ।
शुभ में स्त्री श्रृंगार ,सगाई व चूड़ा पहनना आदि कार्य करें ।
लाभ में व्यापार करें ।
रोग में जब रोगी रोग मुक्त हो जाय तो स्नान करें ।
काल में धन संग्रह करने पर धन वृद्धि होती है ।
अमृत में सभी शुभ कार्य करें ।
💮दिशा शूल ज्ञान————-दक्षिण
परिहार-: आवश्यकतानुसार यदि यात्रा करनी हो तो घी अथवा केशर खाके यात्रा कर सकते है l
इस मंत्र का उच्चारण करें-:
शीघ्र गौतम गच्छत्वं ग्रामेषु नगरेषु च l
भोजनं वसनं यानं मार्गं मे परिकल्पय: ll
🚩 अग्नि वास ज्ञान -:
यात्रा विवाह व्रत गोचरेषु,
चोलोपनिताद्यखिलव्रतेषु ।
दुर्गाविधानेषु सुत प्रसूतौ,
नैवाग्नि चक्रं परिचिन्तनियं ।। महारुद्र व्रतेSमायां ग्रसतेन्द्वर्कास्त राहुणाम्
नित्यनैमित्यके कार्ये अग्निचक्रं न दर्शायेत् ।।
7 + 5 + 1 = 13 ÷ 4 = 1 शेष
पाताल लोक पर अग्नि वास हवन के लिए अशुभ कारक है l
🚩💮 ग्रह मुख आहुति ज्ञान 💮🚩
सूर्य नक्षत्र से अगले 3 नक्षत्र गणना के आधार पर क्रमानुसार सूर्य , बुध , शुक्र , शनि , चन्द्र , मंगल , गुरु , राहु केतु आहुति जानें । शुभ ग्रह की आहुति हवनादि कृत्य शुभपद होता है
शुक्र ग्रह मुखहुति
💮 शिव वास एवं फल -:
7 + 7 + 5 = 19 ÷ 7 = 5 शेष
ज्ञानवेलायां = कष्ट कारक
🚩भद्रा वास एवं फल -:
स्वर्गे भद्रा धनं धान्यं ,पाताले च धनागम:।
मृत्युलोके यदा भद्रा सर्वकार्य विनाशिनी।।
10:50 से रात्रि 2204 तक
स्वर्ग लोक = शुभ कारक
💮🚩 विशेष जानकारी 🚩💮
* रोहिणी व्रत
💮🚩💮 शुभ विचार 💮🚩💮
सिंहादेकं वकादेकं शिक्षेच्चत्वारि कुक्कुटात् ।
वायसात्पञ्च शिक्षेच्चष्ट् शुनस्त्रीणिगर्दभात् ।।
।। चा०नी०।।
शेर से एक बात सीखे. बगुले से एक. मुर्गे से चार. कौवे से पाच. कुत्ते से छह. और गधे से तीन.
🚩💮🚩 सुभाषितानि 🚩💮🚩
गीता -: पुरुषोत्तमयोग :- अo-15
अधश्चोर्ध्वं प्रसृतास्तस्य शाखा
गुणप्रवृद्धा विषयप्रवालाः ।,
अधश्च मूलान्यनुसन्ततानि
कर्मानुबन्धीनि मनुष्यलोके ॥,
उस संसार वृक्ष की तीनों गुणोंरूप जल के द्वारा बढ़ी हुई एवं विषय-भोग रूप कोंपलोंवाली ( शब्द, स्पर्श, रूप, रस और गन्ध -ये पाँचों स्थूलदेह और इन्द्रियों की अपेक्षा सूक्ष्म होने के कारण उन शाखाओं की ‘कोंपलों’ के रूप में कहे गए हैं।,) देव, मनुष्य और तिर्यक् आदि योनिरूप शाखाएँ (मुख्य शाखा रूप ब्रह्मा से सम्पूर्ण लोकों सहित देव, मनुष्य और तिर्यक् आदि योनियों की उत्पत्ति और विस्तार हुआ है, इसलिए उनका यहाँ ‘शाखाओं’ के रूप में वर्णन किया है) नीचे और ऊपर सर्वत्र फैली हुई हैं तथा मनुष्य लोक में ( अहंता, ममता और वासनारूप मूलों को केवल मनुष्य योनि में कर्मों के अनुसार बाँधने वाली कहने का कारण यह है कि अन्य सब योनियों में तो केवल पूर्वकृत कर्मों के फल को भोगने का ही अधिकार है और मनुष्य योनि में नवीन कर्मों के करने का भी अधिकार है) कर्मों के अनुसार बाँधने वाली अहंता-ममता और वासना रूप जड़ें भी नीचे और ऊपर सभी लोकों में व्याप्त हो रही हैं।, ॥,2॥,
💮🚩 दैनिक राशिफल 🚩💮
देशे ग्रामे गृहे युद्धे सेवायां व्यवहारके।
नामराशेः प्रधानत्वं जन्मराशिं न चिन्तयेत्।।
विवाहे सर्वमाङ्गल्ये यात्रायां ग्रहगोचरे।
जन्मराशेः प्रधानत्वं नामराशिं न चिन्तयेत ।।
🐏मेष
पार्टी व पिकनिक का कार्यक्रम बन सकता है। स्वादिष्ट व्यंजनों का आनंद प्राप्त होगा। विद्यार्थी वर्ग सफलता हासिल करेगा। कारोबार में वृद्धि होगी। आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। नौकरी में कार्य की प्रशंसा होगी। नए विचार दिमाग में आएंगे। भाग्य का साथ मिलेगा। धनार्जन होगा।
🐂वृष
कीमती वस्तुएं संभालकर रखें। काम में मन नहीं लगेगा। दूसरे आपसे अधिक की अपेक्षा करेंगे व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। दु:खद समाचार प्राप्त हो सकता है। वाणी में हल्के शब्दों के प्रयोग से बचें। क्रोध व उत्तेजना पर नियंत्रण रखें। पुराना रोग उभर सकता है।
👫मिथुन
प्रयास सफल रहेंगे। पराक्रम वृद्धि होगी। सामाजिक कार्य करने का अवसर प्राप्त होगा। मान-सम्मान मिलेगा। कारोबार में वृद्धि होगी। निवेश शुभ रहेगा। नौकरी में कार्य की प्रशंसा होगी। आय में वृद्धि होगी। जल्दबाजी न करें। प्रतिद्वंद्विता में वृद्धि होगी। लाभ होगा।
🦀कर्क
व्यवसाय ठीक चलेगा। आय में निश्चितता रहेगा।अप्रत्याशित खर्च सामने आएंगे। विवाद से स्वाभिमान को ठेस पहुंच सकती है। पुराना रोग उभर सकता है। जोखिम व जमानत के कार्य टालें। किसी भी अपरिचित व्यक्ति की बातों में न आएं।
🐅सिंह
अप्रत्याशित लाभ हो सकता है। रोजगार प्राप्ति के प्रयास सफल रहेंगे। नौकरी में अधिकार वृद्धि हो सकती है। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। निवेश मनोनकूल रहेगा। घर-बाहर प्रसन्नता का वातावरण बनेगा। किसी कार्य के प्रति चिंता रहेगी। शारीरिक कष्ट संभव है।
🙍♀️कन्या
दूर से शुभ समाचार प्राप्त होंगे। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। जोखिम उठाने का साहस कर पाएंगे। घर में अतिथियों का आगमन होगा। प्रसन्नता तथा उत्साह बने रहेंगे। व्यापार-व्यवसाय मनोनुकूल लाभ देगा। आलस्य हावी रहेगा। प्रमाद न करें। विवेक का प्रयोग करें।
⚖️तुला
यात्रा में जल्दबाजी न करें। शारीरिक कष्ट संभव है। पुराना रोग उभर सकता है। वाहन व मशीनरी के प्रयोग में सावधानी रखें। हंसी-मजाक में हल्कापन न हो, ध्यान रखें। कीमती वस्तुएं इधर-उधर हो सकती हैं, संभालकर रखें। व्यापार-व्यवसाय ठीक चलेगा। आय में निश्चितता रहेगी।
🦂वृश्चिक
धर्म-कर्म में रुचि रहेगी। कोर्ट व कचहरी के काम मनोनुकूल लाभ देंगे। किसी बड़े काम की रुकावट दूर होगी। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। पारिवारिक सहयोग प्राप्त होगा। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। दूसरों के कार्य में हस्तक्षेप न करें।
🏹धनु
नई योजना बनेगी। कार्यप्रणाली में सुधार होगा। मान-सम्मान मिलेगा। आय के नए स्रोत प्राप्त हो सकते हैं। व्यापार-व्यवसाय में मनोनुकूल लाभ होगा। शेयर मार्केट व म्युचुअल फंड इत्यादि से लाभ होगा। प्रेम-प्रसंग में जल्दबाजी न करें। थकान रहेगी। किसी कार्य की चिंता रहेगी।
🐊मकर
बकाया वसूली के प्रयास सफल रहेंगे। व्यावसायिक यात्रा सफल रहेगी। लाभ के अवसर हाथ आएंगे। व्यापार-व्यवसाय लाभदायक रहेगा। नौकरी में अनुकूलता रहेगी। भाग्य का साथ मिलेगा। कोई बड़ा काम करने की इच्छा जागृत होगी। चिंता तथा तनाव बने रहेंगे। प्रमाद न करें।
🍯कुंभ
स्थायी संपत्ति के कार्य बड़ा लाभ दे सकते हैं। रोजगार में वृद्धि होगी। आय के नए साधन प्राप्त हो सकते हैं। भाग्योन्नति के प्रयास सफल रहेंगे। जीवन सुखमय व्यतीत होगा। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी। स्वास्थ्य में राहत मिलेगी। चिंता दूर होगी। नौकरी में रुतबा बढ़ेगा।
🐟मीन
धनहानि की आशंका है। लेन-देन में जल्दबाजी न करें। थकान व कमजोरी रह सकती है। व्यापार व व्यवसाय ठीक चलेगा। नौकरी में चैन रहेगा। यात्रा मनोरंजक रहेगी। प्रेम-प्रसंग में अनुकूलता रहेगी। राजकीय बाधा दूर होकर स्थिति अनुकूल बनेगी। घर-बाहर प्रसन्नता रहेगी।
🙏आपका दिन मंगलमय हो🙏
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डा सुधा नन्द झा ज्योतिषी जमशेदपुर झारखंड