अल्पसंख्यक मुस्लिम समुदाय को विकास के मुख्य धारा से जोड़ना आवश्यक …. डॉ नबी अख्तर
अल्पसंख्यक मुस्लिम समाज को संगठित होने से ही हक़ अधिकार हासिल मुमकिन …. नाजिर हुसैन
राष्ट्र संवाद संवाददाता
जामताड़ा: झारखंड प्रदेश मोमिन कांफ्रेंस के प्रदेश महासचिव डॉक्टर नबी अख्तर ने कहा कि देश में अल्पसंख्यक मुस्लिम समाज को विकास की मुख्य धारा से जोड़ने के लिए केंद्र सरकार और राज्य सरकार की योजनाएं धरातल पर उतारने की जरुरत है। देश के अल्पसंख्यक मुसलमान सामाजिक , शैक्षणिक और आर्थिक रूप से काफी कमजोर है । स्वास्थ्य के मामले में भी स्थिति बहुत ज्यादा कमजोर है। उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य स्तर पर अल्पसंख्यक मुस्लिम समाज के लिए बहुत तरह की योजनाओं का बजट तैयार होता है पर उसे धरातल में उतारने के लिए अमली जामा नहीं पहनाया जाता है । बजट के रूप में दिया गया रूपए सरकार के पास फिर वापस लौट जाता है। आजादी के बाद काफी वक्त गुजरने के बाद अब सरकार को अल्पसंख्यक मुसलमान के विकास के लिए पंचवर्षीय योजना बनानी चाहिए ताकि इस समाज का सर्वांगीण विकास हो।
मोमिन कांफ्रेंस के जामताड़ा जिला कार्यकारी अध्यक्ष नाजीर हुसैन ने कहा कि अल्पसंख्यक मुस्लिम समाज को अपना हक और अधिकार लेने के लिए संगठित होने की जरूरत है । जब तक मुस्लिम समाज टुकड़ों और मशलक में बंटे रहेंगे तब तक अपना संवैधानिक हक अधिकार हासिल नहीं कर सकेंगे । उन्होंने कहा कि गांव , पंचायत , प्रखंड और जिला स्तर पर मुस्लिम समाज की मोमिन कांफ्रेंस कमिटी काफी मजबूत होनी चाहिए ताकि वह अपने मांगों को सरकार के पास मजबूती से रख सकें । उन्होंने बहुत जल्द सभी स्तर के कमेटियों को गठित करने की बात कही । देश में अमन ,शांति , भाईचारा कायम करना मोमिन कॉन्फ्रेंस का उद्देश्य बताया। उन्होंने कहा कि देश की आजादी में मोमिन कॉन्फ्रेंस ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है । हमलोगों को मोमिन कॉन्फ्रेंस संगठन से लगाव रखने की जरूरत है।