“मलयाली भाषी लेखिका जयश्री शिवकुमार रचित कथा संकलन ‘आखिर कब तक’ लोकार्पित”
तुलसी भवन प्रयाग कक्ष सभागार में कथाकारा जयश्री शिवकुमार का प्रथम कथा संकलन “आखिर कब तक” का लोकार्पण सम्पन्न हुआ । कार्यक्रम की अध्यक्षता तुलसी भवन के मानद सचिव डॉ प्रसेनजित तिवारी, मुख्य अतिथि कोल्हान विश्वविद्यालय के संस्कृत विभाग की पूर्व विभागाध्यक्ष डॉ रागिनी भूषण, विशिष्ट अतिथि विजयलक्ष्मी वेदुला ने सुशोभित किया। कार्यक्रम का प्रारंभ सरस्वती वंदना से हुआ। तत्पश्चात लेखिका जयश्री जी के जीवनवृत्त पर वीणा पाण्डेय भारती ने विस्तृत प्रकाश डाला।
पुस्तक पर मुख्य वक्ता के रूप में बोलते हुए शिक्षिका अनिता शर्मा ने इस बात के लिए लेखिका की तारीफ की की अहिन्दी भाषी होते हुए भी उन्होंने हिंदी की इतनी सुरुचिपूर्ण पुस्तक लिखी है इसके लिए वे धन्यवाद की पात्र हैं । कार्यक्रम की विशिष्ट अतिथि के रूप में बोलते हुए शिक्षिका विजयलक्ष्मी वेदुला ने कहा कि जयश्री शिवकुमार का पहला कथा संग्रह निश्चित रूप से बहुत सराहा जाएगा । कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में बोलते हुए डॉ रागिनी भूषण ने इस बात का जिक्र किया कि लेखिका उनकी पूर्व विद्यार्थी रही है ओर
उसमें प्रतिभा के अंकुर उन्होंने उसके कॉलेज के दिनों से पहचान लिए थे । कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे श्री प्रसेनजित तिवारी ने जयश्री जी की पहली पुस्तक के लिए उनका अभिनंदन किया और कहा कि निकट भविष्य में उनकी ओर भी पुस्तकें आएंगी ।
अंत में धन्यवाद ज्ञापन युवा कवि और साहित्यकार मुकेश रंजन ने किया । कार्यक्रम में नगर के प्रतिष्ठित साहित्यकारों में श्यामल सुमन, लखन विक्रांत, मनीष वंदन, माधुरी मिश्रा, शिवकुमार, नीता सागर चौधरी, रीना सिन्हा, ममता कर्ण, परिवार के सदस्यों सहित दर्जनों विद्वानों की उपस्थिति ने कार्यक्रम की शोभा बढ़ाई।