राज्यपाल को सबकुछ साफ करना चाहिए कि बंद लिफाफे में क्या है: स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता
झारखंड सरकार के भविष्य पर सब असमंजस में
झारखंड के राजनीतिक हालात दिन ब दिन बिगड़ते जा रहे हैं. ऑफिस ऑफ प्रॉफिट मामले में राज्यपाल को भेजी गई भारत निर्वाचन आयोग की सलाह से झारखंड सरकार के भविष्य पर सब असमंजस में फंस गए हैं. इसी के चलते कभी रिसॉर्ट पॉलिटिक्स देखने को मिल रही है, कभी हाई टी के जरिये कील कांटे दुरुस्त किए जा रहे हैं. इस बीच मुख्यमंत्री आवास पर महागठबंधन दलों के विधायकों ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर केंद्र सरकार को झारखंड में धारा 356 लगाने की चुनौती दे डाली
झारखंड के राजनीतिक हालात के मद्देनजर रविवार को मुख्यमंत्री आवास पर महागठबंधन दलों के 11 विधायक और मंत्रियों ने संयुक्त संवाददाता सम्मेलन किया. इस दौरान विधायकों ने हेमंत सोरेन सरकार को स्थिर और लोकप्रिय बताया. साथ ही विधायकों ने आरोप लगाया कि भाजपा जनप्रिय और विकास के प्रति समर्पित सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रही है. उन्होंने भाजपा और केंद्र सरकार को राज्य में राष्ट्रपति शासन यानी धारा 356 लगाने की चुनौती भी दी
मुख्यमंत्री आवास पर यूपीए विधायकों के संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में राज्य के परिवहन एवं आदिवासी कल्याण मंत्री चंपई सोरेन, स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता, श्रम मंत्री सत्यानंद भोक्ता, विधायक अनूप सिंह, लोबिन हेम्ब्रम, पूर्णिमा नीरज सिंह, दीपिका पांडे सिंह, मथुरा महतो, अम्बा प्रसाद, सरफराज अहमद, स्टीफन मरांडी शामिल रहे.
चंपई सोरेन बोले राज्य में कामकाज ठपः प्रेस कॉन्फ्रेंस में चम्पई सोरेन ने कहा कि राज्य में हेमंत सोरेन की सरकार, एक बाहरी मुख्यमंत्री के कृत्यों के खिलाफ जनाक्रोश से बनी है. लेकिन राज्य की लोकप्रिय सरकार को अस्थिर करने और काम काज बाधित करने की कोशिश हो रही है. उन्होंने कहा कि राज्य में विकास के काम ठप हो गए हैं और हर तरफ यह सवाल है कि राज्य में क्या हो रहा है.
स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि महागठबंधन के सभी लोग केंद्र सरकार की निंदा करते हैं. उन्होंने कहा कि यह लोकतंत्र के लिए काला अध्याय है. उन्होंने कहा कि संघीय शासन में मतांतर हो सकता है परंतु विपक्षी दलों की सरकार को गिरा दें, यह ठीक नहीं है. बन्ना गुप्ता ने कहा कि अगर केंद्र सरकार में हिम्मत है तो वह राज्य में धारा 356 लगा कर देखे
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि राज्यपाल को सबकुछ साफ करना चाहिए कि बंद लिफाफे में क्या है ,क्योंकि वर्तमान राजनीतिक स्थिति से विकास बाधित हो रहा है. वरिष्ठ नेता स्टीफन मरांडी ने कहा कि गवर्नर को जल्दी से जल्दी ,निर्वाचन आयोग की अनुशंसा को सार्वजनिक करना चाहिए. अम्बा प्रसाद एवं अन्य विधायकों ने कहा कि राज्य में सभी UPA विधायक एकजुट हैं और सरकार को कोई खतरा नहीं है.