संवाददाता- विवेक चौबे
गढ़वा : जिले के कांडी प्रखण्ड क्षेत्र अंतर्गत प्रसिद्ध पर्यटन स्थल सतबहिनी झरना तीर्थ स्थित बजरंगबली मन्दिर के प्रांगण में झारखंड राज्य हिंदू धार्मिक न्यास पर्षद द्वारा आहुत आम सभा में सोमवार को आम जनों की भीड़ उमड़ पड़ी। झारखण्ड राज्य हिन्दू धार्मिक न्यास बोर्ड के तत्वाधान में उच्च न्यायालय के निर्देश के बाद सतबहिनी विकास समिति व हाईकोर्ट द्वारा निरस्त ट्रस्ट की जगह नई समिति के गठन के लिए एक आम सभा का आयोजन किया गया था। झारखण्ड राज्य हिन्दू धार्मिक न्यास बोर्ड के सदस्य संजीव कुमार तिवारी की उपस्थिति में आम सभा की गयी। इस दौरान सतबहिनी झरना तीर्थ स्थल में आस्था रखते हुए इसे शून्य से शिखर तक पहुंचानेवाले हजारों की संख्या में लोग उपस्थित थे। चुनाव प्रक्रिया शुरू होने से पूर्व ही चुनाव कराने आए बोर्ड के सदस्य संजीव कुमार तिवारी ने उपस्थित भीड़ से राय मांगी। जहां भीड़ ने चुनाव की प्रक्रिया प्रारंभ करने की बात कही। वहीं अध्यक्ष पद के चुनाव को लेकर विश्रामपुर विधानसभा क्षेत्र के युवा समाजसेवी विकास दुबे भी अपने समर्थकों के साथ पहुंचे थे। उन्होंने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि राजनीतिक व किसी व्यक्ति विशेष को धार्मिक स्थल पर नहीं होना चाहिए। यहां की आमजनता जो चाहती है, वही होना चाहिए। यह धार्मिक स्थल है कोई राजनीतिक स्थल नहीं।
इतना सुनते ही उनके समर्थकों ने जिंदाबाद जिंदाबाद के नारा लगाते हुए दुबे को अध्यक्ष बनाने को लेकर शोर मचाने लगे। जबकि राजद नेता सह मां सतबहिनी झरना तीर्थ एवं पर्यटनस्थल विकास समिति के अध्यक्ष नरेश प्रसाद सिंह ने भीड़ के बीच खड़ा होकर लोगों को संबोधित करते हुए हिन्दू धार्मिक न्यास बोर्ड द्वारा जारी की गई सूचना व निर्देश के सम्बंध में जानकारी देते हुए कहा कि निर्देश के अनुसार पूर्व विकास समिति व पूर्व झारखण्ड राज्य हिन्दू धार्मिक न्यास ट्रस्ट सतबहिनी की उपस्थिति में दोनों समिति के बीच चुनाव कराने का निर्देश प्राप्त है। तब यह सुनकर भीड़ ने नरेश प्रसाद सिंह जिंदाबाद जिंदाबाद के नारा लगाने लगी। तब नरेश प्रसाद सिंह ने उपस्थित हजारों की संख्या में लोगों को शोरगुल न करने की अपील की। चुनाव कराने पहुंचे संजीव कुमार तिवारी ने कहा कि उपस्थित भीड़ के मनोभाव को मैं समझ चुका हूं। झारखण्ड राज्य हिन्दू धार्मिक न्यास बोर्ड की विशेष बैठक में 27 सितम्बर को आज की बैठक की बात को रखुंगा।
तभी स्थिति स्पष्ट हो सकेगी। उन्होंने कहा कि सतबहिनी झरना तीर्थ स्थल को चारागाह नहीं बनने दूंगा। उन्होंने सतबहिनी माई में श्रद्धा रखने वाले सभी उपस्थित श्रद्धालुओं को आश्वासन देते हुए कहा कि न्याय अवश्य मिलेगा। जबकि नरेश प्रसाद सिंह ने कहा कि सतबहिनी झरना तीर्थ स्थल से मुझे काफी स्नेह है, न कि कोई स्वार्थ। उन्होंने कहा आमजन ने प्रार्थना कर तब मुझे अध्यक्ष बनाया था। जब इस तीर्थ स्थल में विकास का नाम शून्य था। जब मैं अध्यक्ष बना तो निःस्वार्थ भावना से निजी खर्च कर शून्य से शिखर तक विकास को पहुंचाया। इसमें इलाके के एक-एक व्यक्ति आबालवृद्धवनिता ने सहयोग किया है। इस मौके पर सतबहिनी के संत महात्मा हरिदास जी, पूर्व समिति के सचिव पंडित मुरलीधर मिश्र, प्रखंड प्रमुख सत्येंद्र कुमार पांडेय उर्फ पिंकू पांडेय, हरिनाथ चंद्रवंशी, अरुण सिंह, अजीज अंसारी, कुलदीप साह, जयगोविंद साह, रामपुकार प्रजापति, अयोध्या प्रजापति, गोरख नाथ सिंह, सत्यनारायण सिंह, धर्मदेव ठाकुर, अरुण राम, विष्णुदेव साह, सूचित नारायण सिंह सहित हजारों की संख्या में लोग उपस्थित थे।